पटना। बिहार में महागठबंधन की नई सरकार में मंत्रिमंडल का विस्तार हो गया है। आरजेडी एमएलसी और बिहार के कानून मंत्री बने कार्तिकेय सिंह (Kartikeya Singh) ऊर्फ कार्तिक कुमार को लेकर सियासी बवाल खड़ा हो गया है. इसी बीच बिहार के मुख्यमंत्री रह चुके मंत्री जीतन राम मांझी ने इस मुद्दे पर हमला बोल […]
पटना। बिहार में महागठबंधन की नई सरकार में मंत्रिमंडल का विस्तार हो गया है। आरजेडी एमएलसी और बिहार के कानून मंत्री बने कार्तिकेय सिंह (Kartikeya Singh) ऊर्फ कार्तिक कुमार को लेकर सियासी बवाल खड़ा हो गया है. इसी बीच बिहार के मुख्यमंत्री रह चुके मंत्री जीतन राम मांझी ने इस मुद्दे पर हमला बोल दिया है. बीते दिन यानी बुधवार को उन्होंने मामले पर अपना उदाहरण दिया. उन्होंने कहा कि हमें लगता है कि सरकार को इसके बारे में मालूम नहीं था. शायद पता होता तो कार्तिकेय सिंह को शपथ नहीं दिलाई जाती.
बता दें कि पूर्व सीएम जीतन राम मांझी ने अपना उदाहरण पेश करते हुए कहा कि मैंने भी शपथ ली थी. मेरे खिलाफ वारंट भी नहीं था. सिर्फ मुकदमा दर्ज हुआ था और उसके बावजूद मुझे त्यागपत्र देना पड़ा था. उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार इस बात को ढंग से समझते हैं. सरकार के संज्ञान में ये बात नहीं हुई होगी, इसलिए कार्तिकेय सिंह ने शपथ ले ली है. जीतन राम मांझी ने आगे कहा कि हम पर वारंट नहीं था. सिर्फ केस था. आठ घंटे के अंदर इस्तीफा देना पड़ गया था.
गौरतलब है कि जीतन राम मांझी ने बीजेपी के बिहार में जंगलराज के आरोपों को नकार दिया है. उन्होंने कहा कि जब वो साथ में सरकार चला रहे थे, तब बेरोजगारी और महंगाई का मुद्दा कहां था? मंत्रियों पर भ्रष्टाचार का ठप्पा लग रहा था. इसके कारण नीतीश कुमार को बहुत सारे ट्रांसफर-पोस्टिंग बंद करने पड़े थे. नीतीश कुमार ने बदलाव लाने के लिए पाला बदला है, जिसका हम स्वागत करते हैं. जीतन राम मांझी बुधवार को पार्टी कार्यालय में आयोजित पर्वत पुरुष दशरथ मांझी के जयंती समारोह में मीडिया से बात कर रहे थे.
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