नई दिल्ली, हिंदू धर्म की मान्यताओं के मुताबिक, एकादशी का व्रत सबसे ख़ास माना जाता है, बता दें हर महीने दो एकादशी आती हैं- एक कृष्ण पक्ष की और एक शुक्ल पक्ष की. इस तरह से साल में कुल 24 एकादशी आती हैं. लोगों का ऐसा मानना है कि जो लोग नियमित रूप से एकादशी […]
नई दिल्ली, हिंदू धर्म की मान्यताओं के मुताबिक, एकादशी का व्रत सबसे ख़ास माना जाता है, बता दें हर महीने दो एकादशी आती हैं- एक कृष्ण पक्ष की और एक शुक्ल पक्ष की. इस तरह से साल में कुल 24 एकादशी आती हैं. लोगों का ऐसा मानना है कि जो लोग नियमित रूप से एकादशी का व्रत रखते हैं, उनका मनोबल बहुत मजबूत हो जाता है और उनकी सेहत भी अच्छी रहती है. उन्हें धन की प्राप्ति होती है साथ ही मन का संतुलन अच्छा बना रहता है. इसलिए एकादशी का व्रत सबसे पवित्र माना जाता है.
सावन मास की शुक्ल पक्ष की एकादशी को पुत्रदा एकादशी कहा जाता है, ऐसे में इस एकादशी तिथि 7 अगस्त को रात 11 बजकर 50 मिनट पर शुरू होगी और 8 अगस्त को रात 9 बजे तक रहेगी. लेकिन व्रत 8 अगस्त को ही रखा जाएगा, वहीं अगर आप पुत्रदा एकादशी पर बच्चे की कामना करते हैं और संतान सुख की प्राप्ति करना चाहते है या संतान से जुड़ी कोई समस्या आ रही है तो आपको यह व्रत ज़रूर रखना चाहिए.’
एकादशी पर भगवान विष्णु की पूजा की जाती है, पुत्रदा एकादशी के दिन आपको जल्दी उठकर भगवान विष्णु जी की पूजा करनी है, लेकिन उससे पहले आपको कुछ खास बातों का ख्याल रखना है. सबसे पहले तो आप इस दिन उपवास रखें, वहीं फल प्राप्ति के लिए इस दिन पति और पत्नि दोनों को सुबह उठकर विष्णु भगवान की पूजा करनी चाहिए और भगवान विष्णु को पीले फल फूल चढ़ाने चाहिए, तुलसी की पत्ती, पंचअर्मित भगवान विष्णु को समर्पित करना है. उसके बाद इन सब चीजों को प्रसाद की तरह आप ग्रहण कर लें.