Yeti Narasimhananda नई दिल्ली, Yeti Narasimhananda दिल्ली से सटे गाज़ियाबाद के डासना देवी मंदिर के मुख्य पुजारी यति नरसिंहानंद के एकबार फिर चर्चाओं में आ गए है. उन्होंने बुराड़ी में एक कार्यक्रम के दौरान कहा कि यदि कभी भारत का प्रधानमंत्री मुस्लिम बना तो 20 प्रतिशत हिन्दुओ का धर्मातरण हो जाएगा। उनके इस बयान […]
नई दिल्ली, Yeti Narasimhananda दिल्ली से सटे गाज़ियाबाद के डासना देवी मंदिर के मुख्य पुजारी यति नरसिंहानंद के एकबार फिर चर्चाओं में आ गए है. उन्होंने बुराड़ी में एक कार्यक्रम के दौरान कहा कि यदि कभी भारत का प्रधानमंत्री मुस्लिम बना तो 20 प्रतिशत हिन्दुओ का धर्मातरण हो जाएगा। उनके इस बयान के बाद दिल्ली पुलिस ने यति नरसिंहानंद और सुरेश चौहान के खिलाफ FIR दर्ज की है.
दरअसल, दिल्ली के बुराड़ी मैदान में एक महापंचायत का आयोजन किया गया था. इस तरह के कार्यक्रम पूर्व में भी हरिद्वार और दिल्ली के जंतर मंतर पर आयोजित किए गए थे जहां कथित तौर पर मुस्लिम विरोधी नारे लगाए गए थे। बुराड़ी में इस कार्यक्रम में हिंदू श्रेष्ठता की भावना रखने वाले कई नेता शामिल हुए। इसी कार्यक्रम में डासना देवी मंदिर के मुख्य पुजारी यति नरसिंहानंद ने घर्म पर विवादित बयान देते हुए कहा कि ‘वर्ष 2029 में या वर्ष 2034 में या वर्ष 2039 में मुस्लिम प्रधानमंत्री बन जाएगा। अगर एक बार भारत में ऐसा होता है तो अगले 20 साल में 50 प्रतिशत हिंदुओं का धर्मांतरण हो जाएगा, 40 प्रतिशत की हत्या कर दी जाएगी और बाकी बचे 10 प्रतिशत या तो शरणार्थी शिविरों में होंगे या दूसरे देश में होंगे।’
बुराड़ी में दिए गए इस बयान के बाद नरसिंहानंद का वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है. इस वीडियो में वे बोलते हुए दिखाई दे रहे है कि यदि हिन्दुओं को अपना भविष्य या अपना अस्तित्व बचाना है तो उन्हें मर्द बनना होगा और हथियार उठाना होगा।
बुराड़ी में कार्यक्रम को कवर करने गए पत्रकारों के साथ कथित तौर पर पर दुर्व्यवहार किए जाने की खबर सामने आई है. कार्यक्रम में उस वक़्त मौजूद एक पत्रकार ने ट्वीट कर लिखा कि- महापंचायत में हिंदू भीड़ ने मीडिया के दो मुस्लिम सदस्यों पर हमला किया और उन्हें हिरासत में भी लिया गया।
वहीँ इस मामले पर उत्तर पश्चिमी दिल्ली की पुलिस आयुक्त उषा रंगनानी ने ट्वीट कर बताया कि किसी को भी हिरासत में नहीं लिया गया है. कार्यक्रम में हिंसा के दौरान कुछ पत्रकार अपने बचाव के लिए पुलिस वैन में बैठे गए और उन्होंने सुरक्षा कारणों से उसी में पुलिस थाने जाने का विकल्प चुना। लेकिन किसी को भी हिरासत में नहीं लिया गया है. इसके साथ ही उन्होंने लिखा कि ‘भ्रामक सूचना फैलाने पर ऐसे लोगों के खिलाफ जरूरी कार्रवाई की जाएगी।’