Statue of Equality: हैदराबाद, Statue of Equality: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 11वीं सदी के संत श्री रामानुजाचार्य की स्मृति में ‘स्टैच्यू ऑफ इक्वेलिटी’ राष्ट्र को समर्पित करने और अंतरराष्ट्रीय अनुसंधान संस्थान (आईसीआरआईएसएटी) की 50वीं वर्षगांठ समारोह की शुरुआत करने शनिवार को तेलंगाना पहुंचे. बता दें संत रामानुजाचार्य के जन्म के एक हजार वर्ष पूरे हो चुके […]
हैदराबाद, Statue of Equality: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 11वीं सदी के संत श्री रामानुजाचार्य की स्मृति में ‘स्टैच्यू ऑफ इक्वेलिटी’ राष्ट्र को समर्पित करने और अंतरराष्ट्रीय अनुसंधान संस्थान (आईसीआरआईएसएटी) की 50वीं वर्षगांठ समारोह की शुरुआत करने शनिवार को तेलंगाना पहुंचे. बता दें संत रामानुजाचार्य के जन्म के एक हजार वर्ष पूरे हो चुके हैं, ऐसे में पीएम मोदी द्वारा वैष्णव संत को ये बड़ा सम्मान दिया जा रहा है.
जानकारी के मुताबिक Statue Of Equality बैठी हुई मुद्रा में दुनिया की दूसरी सबसे ऊंची मूर्ति है. इसकी लागत तकरीबन एक हज़ार करोड़ है. इसे बनाने में सोना, चांदी, तांबा, पीतल का भरपूर इस्तेमाल किया गया है. संत रामानुजाचार्य की मूर्ति के अलावा 63,444 वर्ग फुट क्षेत्र के भूतल में एक विशाल फोटो गैलरी भी तैयार की गई है जहां पर संत रामानुजाचार्य का पूरा जीवन परिचय देखने को मिलेगा.
खबरें हैं कि संत रामानुजाचार्य की मूर्ति के पास में सभी देशों के झंडे लगाए जाएंगे. ऐसा इसलिए किया जा रहा है क्योंकि संत रामानुजाचार्य ने अपने पूरे जीवन में कभी भी जाति-धर्म-रंग के नाम पर कोई भेदभाव नहीं किया था.
स्टैच्यू ऑफ़ इक्वैलिटी देश को समर्पित करते हुए पीएम मोदी ने मौके पर रामानुजाचार्य का जीवन परिचय देते हुए उनके विचारों के बारे में बताया. उन्होंने संत रामानुजाचार्य को ज्ञान का सच्चा प्रतीक बताते हुए उनके भेदभाव न करने वाली बात पर ज़ोर दिया. पीएम ने आगे कहा कि सभी का विकास हो, सभी को सामाजिक न्याय मिले.