Sabarimala Temple Opened: केरल के सबरीमाला मंदिर के कपाट दर्शन के लिए खोल दिए गए हैं. हजारों की संख्या में श्रद्धालु मंडाला पूजा के मौके पर सबरीमाला मंदिर में दर्शन के लिए इकट्ठा हुए हैं. सबरीमाला मंदिर मे 10 से 50 साल के बीच की महिलाओं का प्रवेश वर्जित है. कई महिला समुदायों ने मंदिर में प्रवेश करने की चेतावनी दी है. साथ ही पुलिस ने आंध्र प्रदेश की 10 महिलाओं को सबरीमाला मंदिर में प्रवेश नहीं करने दिया, उन्हें वापिस लौटा दिया है.
तिरुवनंतपुरम. केरल के प्रसिद्ध सबरीमाला मंदिर के कपाट शनिवार शाम को दर्शन के लिए खोल दिए गए हैं. मंडाला पूजा के मौके पर हजारों की संख्या में श्रद्धालु सबरीमाला मंदिर में दर्शन को इकट्ठा हुए हैं. कपाट खुलने से पहले ही मंदिर के बाहर श्रद्धालुओं की लंबी कतारें लगी थीं. मंदिर के कपाट 20 जनवरी तक खुले रहेंगे. शनिवार दोपहर में पुलिस ने सबरीमाला मंदिर में दर्शन के लिए आईं 10 महिलाओं को पांबा से वापिस लौटा दिया. इन महिलाओं की उम्र 10 से 50 साल के बीच थी.
ये सभी महिलाएं आंध्र प्रदेश की रहने वाली थीं और मंडाला पूजा के मौके पर सबरीमाला में दर्शन के लिए जा रही थीं. पुलिस ने उन्हें पांबा नदी से ही वापिस लौटा दिया.
केरल के दक्षिणपंथी कार्यकर्ता राहुल ऐश्वर ने फेमिनिस्ट समूहों से अपील की है कि मंडाला पूजा के मौके पर वे कोई बखेड़ा नहीं खड़ा करें. राहुल का कहना है कि मंदिर पवित्र स्थल होते हैं और श्रद्धालु अपनी मान्यता के अनुसार वहां नियमों को लागू कर सकते हैं.
दूसरी तरफ कपाट खुलने से पहले कुछ महिला कार्यकर्ताओं ने सबरीमाला मंदिर में प्रवेश और पूजा करने की चेतावनी दी थी. हालांकि सबरीमाला कर्म समिति ने साफ कर दिया है कि इन महिलाओं को मंदिर में प्रवेश करने से रोका जाएगा.
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सबरीमाला विवाद को देखते हुए मंदिर के आस-पास कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की गई है. साथ ही पूरे केरल और आस-पास के राज्यों से आने वाले हजारों श्रद्धालुओं के लिए खास इंतजाम किए गए हैं.
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आपको बता दें कि सबरीमाला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश का मामला सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन है. हाल ही में चीफ जस्टिस की अध्यक्षता वाली पीठ ने इस केस को बड़ी बेंच को ट्रांसफर कर दिया. उनका कहना था कि सबरीमाला मंदिर सिर्फ एक धर्म या जगह का मामला नहीं है. इस फैसले से सभी धर्मों के धर्मस्थलों पर प्रभाव पड़ेगा, इसलिए इस मामले में पूरी तरह सोच-विचार कर ही फैसला दिया जाएगा.
#SabarimalaTemple: Police has sent back 10 women from Pamba. The women (between the age of 10 to 50) had come from Andhra Pradesh to offer prayers at the temple. The temple is schedule to open today in the evening for the Mandala Pooja festival. #Kerala pic.twitter.com/YM17JC5Ogp
— ANI (@ANI) November 16, 2019
गौरतलब है कि सबरीमाला मंदिर में 10 से 50 साल की उम्र के बीच की महिलाओं का प्रवेश वर्जित है. पिछले साल ही सुप्रीम कोर्ट ने सबरीमाला में सभी महिलाओं के प्रवेश की अनुमति का फैसला सुनाया था. जिसके बाद पूरे केरल में विरोध प्रदर्शन हुआ था. इसके बाद कोर्ट में फिर से पुनर्विचार याचिका दाखिल हुई, जिस पर सुनवाई जारी है.
उस दौरान केरल सरकार ने भी सुप्रीम कोर्ट के फैसले से सहमति दिखाई थी. हालांकि शुक्रवार को राज्य सरकार ने सबरीमाला मामले पर अपना रुख अलग कर दिया. सबरीमाला मंदिर में प्रवेश करने वाली महिला कार्यकर्ताओं को राज्य सरकार सुरक्षा मुहैया नहीं कराएगी.