Pehlu Khan Alwar Mob Lynching Case Social Media Reaction: राजस्थान के चर्चित पहलू खान अलवर मॉब लिचिंग मामले में कोर्ट ने सभी 6 आरोपियों को बरी कर दिया है. 1 अप्रैल 2017 को राजस्थान के अलवर जिले में भीड़ ने गोतस्करी के आरोप में डेरी किसान पहलू खान की पीट-पीटकर हत्या कर दी थी. इस मामले की सुनवाई पूरे दो साल कोर्ट में चली और आखिरकार सभी 6 आरोपियों को बरी कर दिया गया है. सुनवाई 7 अगस्त को ही पूरी हो गई थी लेकिन कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था. कोर्ट के इस आदेश पर सोशल मीडिया पर लोगों का खूब रिएक्शन देखने को मिल रहा है.
राजस्थान. Pehlu Khan Alwar Mob Lynching Case Social Media Reaction: राजस्थान के चर्चित पहलू खान अलवर मॉब लिचिंग मामले में कोर्ट ने सभी 6 आरोपियों को बरी कर दिया है. 1 अप्रैल 2017 को राजस्थान के अलवर जिले में भीड़ ने गोतस्करी के आरोप में डेरी किसान पहलू खान की पीट-पीटकर हत्या कर दी थी. इस मामले की सुनवाई पूरे दो साल कोर्ट में चली और आखिरकार सभी 6 आरोपियों को बरी कर दिया गया है. सुनवाई 7 अगस्त को ही पूरी हो गई थी लेकिन कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था. कोर्ट के इस आदेश पर सोशल मीडिया पर लोगों का खूब रिएक्शन देखने को मिल रहा है. लोग इस आदेश को गरीबों के खिलाफ बता रहे हैं. वहीं कुछ लोग कोर्ट के इस आदेश पर तंज भरे लहजे में कह रहे हैं नो वन किल्ड पहलू खान, किसी ने पहलू खान को नहीं मारा.
बता दें कि अलवर कोर्ट ने पहलू खान मौत मामले में सभी आरोपियों को संदेह का लाभ देते हुए बरी किया है. पीड़ित पक्ष के वकील का कहना है कि वो निचली अदालत के फैसले को हाईकोर्ट में चुनौती देंगे. पहलू खान के परिवार ने राजस्थान सरकार पर चार्जशीट देरी से दाखिल करने का आरोप लगाते हुए प्रदर्शन किया. दरअसल अलवर कोर्ट का आदेश ऐसे समय आया बै जब दस दिन पहले ही राजस्थान सरकार ने बिल पास कर कानून बनाया है कि अगर कोई शख्स मॉब लिंचिंग केस में दोषी पाया जाता है तो उसे उम्रकैद की सजा और पांच लाख रुपये का जुर्माना हो सकता है.
Tomorrow is independence day. We are becoming a nuclear power nation but we are faild to get justice for everyone.#PehluKhan https://t.co/K3XjgysIIz#PehluKhan pic.twitter.com/2NlMLTnrsd
— Sudipto Saha (@Officialsaha199) August 14, 2019
It is precisely this impunity that makes lynchers videograph murder.
So, no one killed #PehluKhan?
— Umar Khalid (@UmarKhalidJNU) August 14, 2019
A heinous crime that was recorded on camera but still no one gets convicted for killing a man… No One Killed #PehluKhan … 🤷♀️
— Supriya Bhardwaj (@Supriya23bh) August 14, 2019
https://twitter.com/adilurhmn/status/1161664696505663489
https://twitter.com/sumitch85980494/status/1161656349719056384
सुप्रिया भारद्वाज नाम की ट्विटर यूजर ने लिखा है कि एक घृणित अपराध जो कैमरे के सामने है. एक व्यक्ति को मारने के जुर्म में किसी को दोषी माना गया है. नो वन किल्ड पहलू खान. नईम अहमद नाम के यूजर ने लिखा है कि गरीबो के लिए न्याया नहीं है. अदीलुर रहमान नाम के ट्विटर यूजर ने राजस्थान कोर्ट पर इस आदेश को लेकर तंज कसा है,. वहीं कुछ यूजर राजस्थान पुलिस पर सवाल उठा रहे हैं.
Everyone knows BJP's bias in hate crimes. But what stopped Congress govt in Rajasthan from ensuring that the prosecution did its job properly or that the forensic lab verified the video on time? Was it to avoid offending Hindus ahead of LS polls? Kya fayda hua?
#PehluKhan— Aditya Menon (@AdityaMenon22) August 14, 2019
Criminals: Let’s kill some innocents!!!
Indian jurisdiction: Bhai tu tension mat le, Tera bhai hena piche tere. #PehluKhan— Gurmeet Singh (@SinghGurm33t) August 14, 2019
On the eve of our Independence Day, #PehluKhan's fate is a reflection of India's path towards normalizing violence & bigotry.
India is now a country where you can lynch a man in broad daylight and even film the killing, but then the court will give the killers 'benefit of doubt'
— Srivatsa (@srivatsayb) August 14, 2019
Why don't you Blame Congress Govt in Rajasthan for #PehluKhan verdict https://t.co/273yjStb1u
— Rishi Bagree (@rishibagree) August 14, 2019