मैं आरुषि हूं: अगर मैं जिंदा होती तो 23 साल की होती
मैं आरुषि हूं, अपने मां-बाप की प्यारी आरुषि, अपने दोस्तों की चहेती आरुषि, अगर आज मैं जिंदा होती तो 23 साल की होती लेकिन एक डरवानी रात ने मुझसे मेरा सबकुछ छीन लिया. मेरी जिंदगी, मेरे मम्मी-पापा की खुशियां
October 14, 2017 6:26 pm Asia/KolkataIST, Updated 7 years ago
नई दिल्ली: मैं आरुषि हूं, अपने मां-बाप की प्यारी आरुषि, अपने दोस्तों की चहेती आरुषि, अगर आज मैं जिंदा होती तो 23 साल की होती लेकिन एक डरवानी रात ने मुझसे मेरा सबकुछ छीन लिया. मेरी जिंदगी, मेरे मम्मी-पापा की खुशियां, 15-16 मई को उस रात मेरे साथ जो हुआ वैसा किसी के साथ ना हो. रातों रात सबकुछ कैसे बदल गया. सबकुछ कितना बेरंग हो गया, सबकुछ कैसे खत्म हो गया. उस रात की धुंधली यादें आज भी मेरे जहन में ताजा हैं, मुझे याद है मेरे मम्मी पापा का बेबस आंसू बहाना, उनका सिसकना, सबकुछ याद है.