भारतीय थल सेना के 30 लोगों की टीम 16 मई से 31 मई के बीच माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई करेगी. इस दल को फ्लैग ऑफ करते हुए सेना प्रमुख जनरल दलबीर सिंह ने कहा कि ये दल केवल धरती के सबसे ऊंचे शिखर पर तिरंगा ही नहीं लहराएगा बल्कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के स्वच्छता अभियान को माउंट एवरेस्ट तक लेकर जाएगा.
नई दिल्ली. भारतीय थल सेना के 30 लोगों की टीम 16 मई से 31 मई के बीच माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई करेगी. इस दल को फ्लैग ऑफ करते हुए सेना प्रमुख जनरल दलबीर सिंह ने कहा कि ये दल केवल धरती के सबसे ऊंचे शिखर पर तिरंगा ही नहीं लहराएगा बल्कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के स्वच्छता अभियान को माउंट एवरेस्ट तक लेकर जाएगा.
ये दल वहां फैले करीब 4000 किलोग्राम कचरे को साफ करेगा. इससे न केवल पर्यावरण संतुलन कायम होगा बल्कि जनता में जागरुकता भी फैलेगी। ये दल 8848 मीटर ऊंचे एवरेस्ट के अलावा दुनिया की चौथी सबसे बड़ी ऊंची चोटी भी फतह करेगी. माउंट लाओत्से, जो 8,516 मीटर की ऊंचाई पर है.
30 लोगों की इस टुकड़ी में 14 लोग एवरेस्ट पर जाएंगे और बाकी लोग लाओत्से तक. इस टीम के लीडर और दो बार एवरेस्ट पर विजय हासिल कर चुके मेजर रणवीर सिंह जाम्वाल कहते हैं कि हमारी टीम में 60 फिसदी ऐसे नए सदस्य हैं जो पहली बार इस इलाके में पर्वतारोहण करने आए हैं.
वैसे इस अभियान को करने की बड़ी वजह है कि ठीक 50 साल पहले यानी 1965 में पहली बार भारतीय सेना ने माउंट एवरेस्ट पर तिरंगा लहराया था. वह 15 मई का दिन था. तब से लेकर अभी तक भारतीय थल सेना ने छह बार एवरेस्ट समिट किया जिसमें करीब 174 लोग शामिल हुए. एवरेस्ट समिट के बाद इनमें से पांच सदस्य तेनजिंग हिलेरी एवरेस्ट मैराथन में हिस्सा लेंगे जो एवरेस्ट के बेस कैंप से नामचा बजार तक 42 किलोमीटर का होता है.
IANS