मंकी सेल्फी केस: फोटोग्राफर को बंदरों की सुरक्षा के लिए देना होगा कमाई का 25 फीसदी हिस्सा

सेन फ्रांसिस्को. कई साल बीत जाने के बाद मंकी सेल्फी मामले में अटॉर्नी और फोटोग्राफर के बीच समझौता हो गया है. जिसके तहत सेल्फी का कॉपीराइट मामला खत्म हो गया है.   अटॉर्नी ने घोषणा की है कि सेल्फी के कॉपीराइट मामले का निबटारा हो गया है. मामले में एक डील हुई है इसके तहत […]

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मंकी सेल्फी केस: फोटोग्राफर को बंदरों की सुरक्षा के लिए देना होगा कमाई का 25 फीसदी हिस्सा

Admin

  • September 12, 2017 6:47 am Asia/KolkataIST, Updated 7 years ago
सेन फ्रांसिस्को. कई साल बीत जाने के बाद मंकी सेल्फी मामले में अटॉर्नी और फोटोग्राफर के बीच समझौता हो गया है. जिसके तहत सेल्फी का कॉपीराइट मामला खत्म हो गया है.
 
अटॉर्नी ने घोषणा की है कि सेल्फी के कॉपीराइट मामले का निबटारा हो गया है. मामले में एक डील हुई है इसके तहत  पशु अधिकारों की संस्था के वकील ने बताया कि इस डील के तहत फोटोग्राफर ने भविष्य में फोटो से होने वाली कमाई का 25 प्रतिशत इंडोनेशिया में पाए जाने वाले इस दुर्लभ प्रजाति के बंदर की सुरक्षा के लिए दान देने का वादा किया.
 
इस मामले के अटॉर्नी ने यह बताने से इनकार कर दिया कि तस्वीरों से कितनी कमाई हुई. बता दें अभी अपीली अदालत की ओर से कोई फैसला नहीं लिया गया है. एक संस्था ने 2015 में कॉपी राइट का मामला दर्ज करवाया था.
 
 
याद दिलवा दें ये वहीं केस है जिसमें मशहूर फोटोग्राफर स्लेटर को कॉपीराइट कानून के तहत कोर्ट में केस चल रहा है. दरअसल एक बंदर ने उनके कैमरे में खुद अपनी तस्वीर खींच ली थी और बाद में इस तस्वीर को स्लेटर के नाम कई जगह इस्तेमाल किया गया. और इसी चीज का पशु अधिकारों के लिए काम करने वाली संस्थाओं ने विरोध किया.
 
पशु अधिकारों के लिए काम करने वाली संस्था पेटा और फोटोग्राफर ने मीडिया को बताया कि हम इस समझौते से सहमत हैं. ये एक ऐसा मामला है जिसके तहत पशुओं को कानूनी अधिकारों से जुड़ा है.
 

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