कोलकाता : पानी के अंदर सफर करने का आपका सपना अब जल्द ही पूरा होने वाला है, भारत में नदी के नीचे बनने वाले पहला अंडरवाटर मेट्रो टनल बनकर तैयार हो गया है. अब जल्द ही आपको पानी के नीचे मेट्रो दौड़ती हुई नजर आएगी.
देश का पहला प्रॉजेक्ट कोलकाता के हुगली नदी के नीचे टनल का काम अगले हफ्ते तक पूरा हो जाएगा. अब आपके जहन में ये सवाल आ रहा होगा कि इस मेट्रो की कनेक्टिविटी कहां से कहां तक होगी तो बता दें कि इन टनल के जरिए हावड़ा और कोलकाता के बीच मेट्रो रफ्तार पकड़ेगी.
16.4 किलोमीटर लंबे इस टनल को बनाने में करीब 9 हजार करोड़ रुपए का खर्च आया है. गौरतलब है कि साल 1984 में देश की पहली मेट्रो भी कोलकाता में शुरू की गई थी. 520 मीटर लंबे दोहरे टनल को नदी की सतह के 30 मीटर नीचे बनाया गया है. इस टनल की एक खास बहात ये है कि हावड़ा और महाकरन मेट्रो स्टेशन के यात्री एक मिनट के लिए नदी के नीचे से गुजरेंगे.
इस टनल का काम पूरा होने से हावड़ा स्टेशन पूर्व में स्थित महाकरन, सियालदह, साल्टलेक स्टेडियम, फूल बागान, सिटी सेंटर, बंगाल केमिकल्स, सेंट्रल पार्क, करुणामई और साल्ट लेक सेक्टर-5 स्टेशनों से जुड़ जाएंगे.
क्या होगी मेट्रो की गति
मेट्रो 80 किलोमीटर प्रति घंटा की स्पीड से रफ्तार से दौड़ेगी. 10.6 किलोमीटर का सफर मेट्रो टनल के जरिए करेगी. इस टनल को बनाने में करीब 60 करोड़ रुपए का खर्च आया है जबकि ईस्ट-वेस्ट मेट्रो प्रॉजेक्ट पर कुल 9,000 करोड़ रुपए का निवेश किया गया है.
रेल मंत्रालय के एक अधिकारी ने बताया कि अप्रैल 2016 में टनल का काम शुरू हुआ था और जल्द ही काम पूरा होने वाला है. बता दें कि ईस्ट-वेस्ट मेट्रो अगस्त 2019 में शुरू होना प्रस्तावित है. उन्होंने आगे बताते हुए कहा कि आपातकालीन स्थिति के लिए एक वैकल्पिक रास्ता भी बनाया गया है.