रावलकोट: पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (PoK) में एक बार फिर पाकिस्तान के खिलाफ प्रदर्शन हुआ है. पीओके के रावलकोट, मुज्जफराबाद, कोटली व अन्य इलाकों में पाकिस्तान के खिलाफ प्रदर्शन हुआ. प्रदर्शनकारी PoK के नेता बाबा जान को जेल से रिहा करने की मांग कर रहे थे. बाबा जान पाक के दुराचार के खिलाफ आवाज उठाते रहे हैं. उन्हें 14 साल की सजा सुनाई गई है.
प्रदर्शन के दौरान लगातार पाक के खिलाफ नारेबाजी हुई और बाबा जान को छोड़ने की मांग और आजादी के नारे लगाए. पीओके में इस तरह का पहला मामला नहीं है. इससे पहले भी पाक अधिकृत कश्मीर में लंबे समय से पाक के विरोध की आवाजें उठती रही हैं.
प्रदर्शनकारियों ने कहा कि पाकिस्तान से आजादी हमारा हक है और हम हर हाल में इसके हासिल करके रहेंगे. यह विरोध प्रदर्शन पाकिस्तान की ओर से पीओके के लोगों पर ढहाए जा रहे जुल्म के खिलाफ गुस्सा है. पाकिस्तानी सेना और आईएसआई इस इलाके में लोगों और नेताओं पर अत्याचार कर रही है. उन्हें जबरन आतंक के रास्ते पर भेजती है.
प्रदर्शन कर रहे लोगों ने का कहना है कि पाकिस्तान की सेना और आईएसआई पीओके के महिलाओं पर अत्याचार करती है और नेताओं और सामाजिक कार्यकर्ताओं को बुरी तरह प्रताड़ित करती है. यहां के सारे निर्णय आईएसआई ही करती है. स्थानीय युवकों का कहना है कि जो जिहाद में शामिल नहीं होते उसे आईएसआई उठाकर ले जाती है. पाकिस्तान की सरकार उनके साथ भेदभाव करती है और उन्हें मूलभूत सुविधाएं भी नहीं दी जादी हैं.
बता दें कि पाक अधिकृत कश्मीर में लंबे समय से विरोध की आवाजें उठती रही हैं. इसके अलावा गिलगित-बालिस्तान और सिंध प्रांत में भी पाकिस्तान के खिलाफ स्थानीय लोग अपनी आवाज बुलंद करते रहे हैं. वहीं पाकिस्तान इन आवाजों को दबाने की भरसक कोशिश करता रहा है.
एक तरफ पाकिस्तान कश्मीर में अलगावादियों को शह देता है, सीमा पार से आतंकियों की खेप भेजता है और भारत पर लोगों की भावनाओं को दबाने का आरोप लगाता है, दूसरी तरफ PoK के लोगों की आवाज को खामोश करने की साजिश रचता है. अब PoK के लोग पाकिस्तान की साजिश के खिलाफ सड़क पर उतर आए हैं.