नई दिल्ली: इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन यानी ईवीएम से छेड़छाड़ के आरोपों से घिरे चुनाव आयोग ने आखिरकार इस तरह के आरोप लगाने वाले दलों के लिए 3 जून से EVMChallenge का ऐलान कर दिया है.
मुख्य चुनाव आयुक्त नसीम ज़ैदी ने दिल्ली में ईवीएम चैलेंज का ऐलान करते हुए कहा कि तमाम राजनीतिक दल जिनको ईवीएम पर भरोसा नहीं है उनको यह खुली चुनौती दी जा रही है कि वो 3 जून के बाद से आएं और ईवीएम को हैक करके दिखाएं.
ज़ैदी ने कहा कि चैलेंज है कि चुनाव आयोग की कड़ी सुरक्षा में रहने वाले ईवीएम से कोई छेड़छाड़ करके दिखाए और हाल में संपन्न पांच राज्यों के चुनाव के ईवीएम में गड़बड़ी प्रमाणित करें.
वैसे तो ईवीएम में गड़बड़ी का आरोप बहुत पहले बीजेपी नेता लालकृष्ण आडवाणी ने लगाया था लेकिन उत्तर प्रदेश चुनाव में हार के बाद बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने ईवीएम में छेड़छाड़ कर बीजेपी को जिताने का सीधा आरोप लगाया था.
मायावती के बाद आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल ने भी ईवीएम के खिलाफ मोर्चा खोल दिया और एक दिन तो दिल्ली विधानसभा का सत्र बुलाकर ईवीएम जैसी एक मशीन के जरिए देश को बताया कि इसे कैसे हैक किया जा सकता है.
चुनाव आयोग ने अब जब ईवीएम हैक करने की तारीखों का ऐलान कर दिया है तो जाहिर तौर पर गेंद अब ईवीएम में गड़बड़ी का आरोप लगाने वालों के पाले में है. उन्हें 3 जून के बाद ये दिखाना है कि ईवीएम हैक किया जा सकता है.