Advertisement
  • होम
  • गुरु पर्व
  • गुरु पर्व: सूर्य ग्रहण को लेकर भय की स्थिति क्यों रहती है ?

गुरु पर्व: सूर्य ग्रहण को लेकर भय की स्थिति क्यों रहती है ?

हमारे देश में आज भी सूर्य ग्रहण को लेकर लोगों में काफी भय है. ग्रहण पर लोग कई सावधानियां बरतते हैं, जो सही भी माना गया है क्योंकि ग्रहण का हमारे जीवन पर बहुत फर्क पड़ता

Advertisement
गुरु पर्व: सूर्य ग्रहण को लेकर भय की स्थिति क्यों रहती है ?
  • February 25, 2017 6:15 am Asia/KolkataIST, Updated 8 years ago
नई दिल्ली: हमारे देश में आज भी सूर्य ग्रहण को लेकर लोगों में काफी भय है. ग्रहण पर लोग कई सावधानियां बरतते हैं, जो सही भी माना गया है क्योंकि ग्रहण का हमारे जीवन पर बहुत फर्क पड़ता है.
 
 
भारत में इसे लेकर जो भी कहा जाता है उसे लेकर देश के बाहर भी लोगों ने विचार किया गया है. उसमें ऐसा कहा गया है कि ग्रहण के समय भारत में जो भी मान्यताएं हैं वो बिल्कुल सही है.
 
गुरु पर्व: क्या बच्चों का जिद करना वाकई गलत है?
 
सूर्य ग्रहण का प्रचलन वैदिक काल से ही है. सूर्य और चंद्र ग्रहण इसलिए लगता है क्योंकि इन पर राहू-केतू का प्रभाव होता है. राहू और केतू के प्रभाव हमारे ऊपर पड़ता हैं. ये सूर्य के भी चक्कर लगाते हैं. इनकी छाया सूर्य पर पड़ने से ही ग्रहण लगता है.राहू और केतू सूर्य और चंद्र से शत्रुता रखते हैं.
 
हथेली पर राहू-केतु की स्थिति को देखिए,  सूर्य ग्रहण को लेकर प्राचीन मान्यताएं क्या हैं, सूर्य ग्रहण महिलाओं को कैसे प्रभावित करता है, सूर्य ग्रहण का रहस्य क्या है आपको बता रहे हैं आध्यात्मिक गुरू पवन सिन्हा इंडिया न्यूज के खास कार्यक्रम गुरु पर्व में..

Tags

Advertisement