नई दिल्ली : राजधानी दिल्ली की 80 फीसद इमारतें भूकंप के लिहाज से सुरक्षित नहीं हैं. अगर राजधानी में ज्यादा तीव्रता का भूकंप आया तो जान माल के नुकसान की कल्पना से ही डर लगने लगता है.
दिल्ली एनसीआर में सोमवार रात को आए भूकंप के बाद से दिल्ली में रहने वाले लोग सहम गए हैं. यहां तक की दिल्ली सचिवालय और दिल्ली पुलिस मुख्यालय तक की इमारतें भूकंपरोधी नही हैं.
दिल्ली भूकंप की दृष्टि से बहुत संवेदनशील है क्योंकि यह सिस्मिक जोन 4 में पड़ता है. ज्यादा भींडभाड़ वाला इलाका पुरानी दिल्ली तो इसमें सबसे ज्यादा संवेदनशील है.
दिल्ली हाईकोर्ट में एक जनहित याचिका पर सुनवाई के दौरान यह तथ्य सामने आया है कि दिल्ली की 10-20 फीसदी इमारतें ही नेशनल बिल्डिंग लॉ के मानक से बनी हैं. यहां की 80 फीसदी इमारतें भूकंप के लिहाज से सुरक्षित नही हैं.
पुरानी दिल्ली की ईमारतें बहुत ही अनियोजित तरीके से बनी हैं और बहुत पुरानी और कमजोर भी हो चुकी हैं. यहां की गलियां भी बहुत कम चौड़ी हैं जिससे राहत और बचाव कार्य में लोगों को मदद पहुंचाना भी बहुत मुश्किल होगा.