कल रात तक इन जगहों पर चलेंगे 500 के पुराने नोट, 30 दिसंबर तक बैंकों में करें जमा

नोटबंदी के 36 दिन बाद भी नोटों की किल्लत जारी है, बैंकों और एटीएम के बाहर लंबी-लंबी लाइनें खत्म होने का नाम ही नहीं ले रहीं हैं. 500 और 1000 रुपए के नोट बंद हो जाने के बाद आम लोग को काफी समस्याओं को सामना करना पड़ रहा है

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कल रात तक इन जगहों पर चलेंगे 500 के पुराने नोट, 30 दिसंबर तक बैंकों में करें जमा

Admin

  • December 14, 2016 10:02 am Asia/KolkataIST, Updated 8 years ago
नई दिल्ली. नोटबंदी के 36 दिन बाद भी चारों तरफ अफरा-तफरी का माहौल बना हुआ है, बैंकों और एटीएम के बाहर लंबी-लंबी लाइनें खत्म होने का नाम ही नहीं ले रहीं है. 500 और 1000 रुपए के नोट बंद हो जाने के बाद आम लोगों को काफी समस्याओं को सामना करना पड़ रहा है हालांकि कल यानी 15 दिसंबर तक कुछ जगहों पर 500 के पुराने नोट चलेंगे.
 
 
16 दिसंबर से 500 के पुराने नोट केवल बैंक में ही जमा कर पाएंगे, वो भी केवल 31 दिसंबर तक. अभी तक 500 के पुराने नोट सरकारी अस्पताल, दवा की दुकानों, रसोई गैस के सिलेंडर की खरीद, रेलवे काउंटर से टिकट, सरकारी अधिकृत डेयरी बूथ, सरकारी बसों में टिकटी की खरीद, शमशान घाट, मैट्रो टिकट और 500 तक का प्री पेड टॉप अप, किसी मेमोरियल की एंट्री फीस के लिए स्वीकार किए जा रहे थे. इसके अलावा पुराने नोट केंद्र और राज्य की स्थानीय निकायों की फीस, बिजली-पानी का बिल, सरकारी स्कूलों की 2000 तक की फीस के लिए स्वीकार किए जा रहे थे.
 
नोटबंदी के बाद घंटों तक बैंक और एटीएम की लाइन में खड़े होने के बाद भी लोगों तक कैश नहीं पहुंच रहा है. इसे देखते हुए पीएम मोदी ने 500 बैंकों का स्टिंग ऑपरेशन कराया है साथ ही बैंकों से कहा है कि वो 8 नवंबर के बाद की सभी सीसीटीवी फुटेज को संभाल कर रखें. सूत्रों के मुताबिक करीब 400 ब्रांचों के स्टिंग की सीडी वित्त मंत्रालय पहुंच चुकी है और इन बैंकों के खिलाफ मार्च 2017 के बाद कार्रवाई की जा सकती है.
 
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ यानी आरएसएस से जुड़े आर्थिक मामलों के विचारक एस गुरुमूर्ति ने निजी चैनल को दिए इंटरव्यू में कहा कि आने वाले समय में 2000 रुपये का नया नोट भी बंद हो जाएगा और पांच सौ का नोट ही सबसे बड़ा नोट होगा. अर्थशास्त्री गुरुमूर्ति के अनुसार कुछ साल में दो हजार के नोट चलन से बाहर हो जाएंगे. उन्होंने दावा किया कि दो हजार के नोट सरकार ने इसलिए छापे हैं, ताकि नोटबंदी के बाद अर्थव्यवस्था में नोटों के गैप को जल्द से जल्द भरा जा सके.

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