पेशावर की टकसाल में छपती है नकली करेंसी, हर साल भारत भेजे जा रहे थे करोड़ो के जाली नोट

नई दिल्ली.  भारत की इंटेलीजेंस एजेंसियों ने दावा किया है कि भारत सरकार की ओर से जारी किए गए 500 और 2000 हजार के नोटों को पाकिस्तान अब कॉपी नहीं कर पाएगा.   मतलब पाकिस्तान से भारत में भेजे जा रहे जाली नोटों का गोरखधंधा अब पूरी तरह से बंद हो जाएगा. सरकार से जुड़े […]

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पेशावर की टकसाल में छपती है नकली करेंसी, हर साल भारत भेजे जा रहे थे करोड़ो के जाली नोट

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  • November 10, 2016 2:30 pm Asia/KolkataIST, Updated 8 years ago
नई दिल्ली.  भारत की इंटेलीजेंस एजेंसियों ने दावा किया है कि भारत सरकार की ओर से जारी किए गए 500 और 2000 हजार के नोटों को पाकिस्तान अब कॉपी नहीं कर पाएगा.
 
मतलब पाकिस्तान से भारत में भेजे जा रहे जाली नोटों का गोरखधंधा अब पूरी तरह से बंद हो जाएगा. सरकार से जुड़े एक उच्चाधिकारी ने टाइम्स ऑफ इंडिया को बताया कि भारत के खूफिया विभाग रिसर्च एंड एनालिसिस यानी रॉ और डीआरआई ने इन नए नोटों को जांचने परखने के बताया है कि अब पाकिस्तान इनकी जाली करेंसी नहीं बना पाएगा. 
 
बताया जा रहा है कि इन नए नोटों को सरकार बड़े ही गुपचुप तरीके से पिछले 6 महीने से छपवा रही थी. इन नोटों में कई सुरक्षा को लेकर कई लेयर बनाए गए हैं जिनके बारे में शायद ही किसी को जानकारी होगी.
 
पाकिस्तान ने खोल रखी है टकसाल
मिली जानकारी के मुताबिक खूफिया काम में जुड़ी एजेंसियों ने भारत सरकार को जानकारी दी थी कि पाकिस्तान के पेशावर में भारतीय रुपयों की जाली नोट छपाने के लिए एक विशेष स्थापित है जो सिर्फ यही काम करती है. यहां से छपी करेंसी को पाकिस्तान की आईएसआई भारत के मोस्ट वांटेड भगोड़े दाऊद इब्राहिम और दूसरे आपराधिक नेटवर्क के जरिए भारत में खपा रही थी. 
 
इन जाली नोटों को पकड़ना हो गया था मुश्किल
खूफिया विभाग के अधिकारियों ने कुछ सालों पहले ही एक रिपोर्ट दी थी जिसमें कहा गया था कि पाकिस्तान जीरो एरर काउंटफिट कैपिबिल्टी हासिल कर ली है यानी पाकिस्तान ने एक ऐसी तकनीकी विकसित कर ली है जिससे हूबहू भारतीय नोटों को छापा जा सकता है. रिपोर्ट के मुताबिक पाकिस्तान हर साल 70 करोड़ रुपए के जाली नोट भारतीय अर्थव्यवस्था में खपा रहा था. 
 
 

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