2013 में सेल्फी शब्द का इस्तेमाल पहली बार किया गया और जैसे-जैसे स्मार्टफोन्स के फ्रंट कैमरा बेहतर होते गए वैसे-वैसे यह शब्द लोगों के जीवन का हिस्सा बन गया.
नई दिल्ली. 2013 में सेल्फी शब्द का इस्तेमाल पहली बार किया गया और जैसे-जैसे स्मार्टफोन्स के फ्रंट कैमरा बेहतर होते गए वैसे-वैसे यह शब्द लोगों के जीवन का हिस्सा बन गया.
हालांकि अभी भी स्मार्टफोन निर्माता बेहतर से बेहतर फ्रंट कैमरा फोन में उपलब्ध कराने की कोशिशों में हैं. वहीं माइक्रोसॉफ्ट इस काम को सॉफ्टवेयर या कहें ऐप के जरिये करना चाहती है और इसी कोशिश में माइक्रोसॉफ्ट अपनी ऐप सेल्फी को एंड्राइड डिवाइज़ के लिए ले आई है.
आईओएस पर उपलब्ध होने के एक साल बाद एंड्राइड पर इस ऐप को माइक्रोसॉफ्ट ने रिलीज़ किया है. माइक्रोसॉफ्ट की इस ऐप में मशीन विज़न तकनीक को इस्तेमाल किया गया है. जिससे आपकी सेल्फी और भी दमदार हो जाएंगी. माइक्रोसॉफ्ट का अपनी इस ऐप के बारे में कहना है कि यह तकनीक एक क्लिक में उम्र, जेंडर और स्किन टोन पहचान लेता है.
अब इस ऐप को आप भी गूगल प्ले स्टोर से डाउनलोड कर सकते हैं.