पूर्व रॉ प्रमुख का दावा, घाटी के सिर्फ 7% इलाके में अशांति

पूर्व रॉ प्रमुख आरएसएन सिंह के मुताबिक जम्मू-कश्मीर में सिर्फ सात फीसदी इलाका ही अशांत है, बाकी सभी जगह शांति है. घाटी के पांच जिलों में ही अलगाववादी सक्रिय हैं.

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पूर्व रॉ प्रमुख का दावा, घाटी के सिर्फ 7%  इलाके में अशांति

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  • November 7, 2016 8:30 am Asia/KolkataIST, Updated 8 years ago
वाराणसी. पूर्व रॉ प्रमुख आरएसएन सिंह के मुताबिक जम्मू-कश्मीर में सिर्फ सात फीसदी इलाका ही अशांत है, बाकी सभी जगह शांति है. घाटी के पांच जिलों में ही अलगाववादी सक्रिय हैं. रविवार को वाराणसी में संस्कृति संसद में एक चर्चा के दौरान सिंह ने ये बातें कहीं. 
 
उन्होंने ये भी बताया कि ऊंची पहाड़ियों पर रहने वाले गुर्जर मुसलमान और बकरवाल समेत कई अन्य जनजातियां भारत की समर्थक हैं. यही नहीं उनका दावा है कि गुर्जर मुसलमान कहते हैं कि अगर उनकी बटालियन भारत के द्वारा बनाई जाए तो वे खुद ही आतंकवादियों और अलगाववादियों से निपटने में समर्थ हैं. 
 
अलगाववादी सिर्फ घाटी में ही 
आरएसएन सिंह ने रॉ में काम करने के दौरान हुए अपने अनुभवों के आधार पर ये बातें साझा की. उन्होंने बताया कि अलगाववादी सिर्फ घाटी में ही हैं. यहीं पर आतंकवाद को संरक्षण दिया जाता है. सिंह के मुताबिक आतंकवाद से सर्वाधिक प्रभावित इलाका पुलवामा, बडगाम, अनंतनाग और बारामुला हैं. घाटी का कोई बॉर्डर नहीं है और ये LOC से कोसों दूर भी है. 
 
इन जगहों पर धार्मिक संगठन जमाते इस्लामी अलगाववाद को बढ़ावा दे रहा है. घाटी में स्कूलो पर जो हमले हो रहे हैं और उन्हें नुकसान पहुंचाया जा रहा है इसके पीछे भी जमाते इस्लामी का हाथ है. स्कूलों को नुकसान पहुंचने से मदरसों को फायदा मिल रहा है. 

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