चर्चित इशरत जहां फर्जी मुठभेड़ के मामले में गृह मंत्रालय के आदेश से इंटेलिजेंस ब्यूरो के एक पूर्व अधिकारी और तीन अन्य को राहत मिली है. गृह मंत्रालय ने सीबीआई को इन चार लोगों के खिलाफ मुकदमा चलाने की इजाजत नहीं दी है. सूत्रों के मुताबिक गृह मंत्रालय को आईबी के पूर्व डायरेक्टर राजेन्द्र कुमार, और तीन अन्य पर मुकदमा चृलाने का कोई आधार नहीं मिला इसलिए मंत्रालय ने इजाजत देने से मना कर दिया.
नई दिल्ली. चर्चित इशरत जहां फर्जी मुठभेड़ के मामले में गृह मंत्रालय के आदेश से इंटेलिजेंस ब्यूरो के एक पूर्व अधिकारी और तीन अन्य को राहत मिली है. गृह मंत्रालय ने सीबीआई को इन चार लोगों के खिलाफ मुकदमा चलाने की इजाजत नहीं दी है. सूत्रों के मुताबिक गृह मंत्रालय को आईबी के पूर्व डायरेक्टर राजेन्द्र कुमार, और तीन अन्य पर मुकदमा चृलाने का कोई आधार नहीं मिला इसलिए मंत्रालय ने इजाजत देने से मना कर दिया.
मंत्रालय का यह भी कहना है कि सीबीआई के पास इन चारों अधिकारियों के खिलाफ पुख्ता सबूत नहीं है. इन अधिकारियों के खिलाफ मुकदमा चलाने का मामला मंत्रालय के पास छह माह पहले आया था. इस पर आखिरी फैसला खुद गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने लिया. इस मामले पर कांग्रेस नेता आरपीन सिंह ने कहा है कि ये हैरान करने वाली बात है कि जो लोग फर्जी मुठभेड़ में शामिल थे, उन्हें क्लीन चिट जे दी जा रही है. इस फैसले के बाद इशरत की मां शमीमा कौसर ने कहा कि उन्हें उनकी बेटी के लिए इंसाफ चाहिए.
बताते चलें कि 15 जून, 2004 को अहमदाबाद में पुलिस ने मुठभेड़ में चार कथित आतंकियों को मार गिराया था. पुलिस ने दावा किया था कि इन आतंकियों का संबंध आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा से था.
IANS