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छक्का मारकर MS धोनी ने जिताया था वर्ल्ड कप लेकिन यह खिलाड़ी था जीत का असली हीरो

भारत के विश्व कप जीतने के बाद क्रिकेट फैंस और सभी की जुबान पर बस महेंद्र सिंह धोनी का नाम रहा लेकिन ये खिलाड़ी उतनी वाहवाही नहीं लूट पाया जितना उसका वो हकदार था. आइए जानते हैं उस खिलाड़ी के बारे में...

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छक्का मारकर MS धोनी ने जिताया था वर्ल्ड कप लेकिन यह खिलाड़ी था जीत का असली हीरो
  • April 2, 2018 8:58 am Asia/KolkataIST, Updated 7 years ago

नई दिल्ली. 2 अप्रैल, 2011 का दिन शायद की कोई क्रिकेट फैंस भूल पाएगा. जब भी इस दिन का जिक्र आता है तो सभी क्रिकेट फैंस के चेहरे पर मुस्कान आ जाती है. इस खास दिन भारतीय टीम ने फाइनल मुकाबले में श्रीलंका को मात देकर आज से ठीक 7 साल पहले वर्ष 2011 में दूसरी बार वर्ल्ड कप अपने नाम किया था. फाइनल मुकाबले में महेंद्र सिंह धोनी ने छक्का जड़कर भारत को विश्व कप का खिताब जिताया था. साल 2011 में महेंद्र सिंह धोनी के नेतृत्‍व में भारत ने विश्‍व कप पर कब्‍जा किया था.

भारत ने 2 अप्रैल 2011 के विश्व कप फाइनल में श्रीलंका को 6 विकेट से हराकर 28 साल बाद विश्व कप जीता था. लेकिन आज हम आपको एक ऐसे खिलाड़ी के बारे में बताने जा रहे हैं जिसने 2011 विश्व कप के फाइनल मुकाबले में सबसे अहम पारी खेली थी लेकिन आज वक्त के साथ उस खिलाड़ी का नाम कहीं गुम सा होता नजर आ रहा है. इस खिलाड़ी ने अगर फाइनल मुकाबले में इतनी अहम पारी नहीं खेली होती तो शायद हम दूसरी बार विश्व कप नहीं जीत पाते. भारत के विश्व कप जीतने के बाद क्रिकेट फैंस और सभी की जुबान पर बस महेंद्र सिंह धोनी का नाम रहा लेकिन ये खिलाड़ी उतनी वाहवाही नहीं लूट पाया जितना उसका वो हकदार था. आइए जानते हैं उस खिलाड़ी के बारे में.

कहते हैं कर्म कर, फल की इच्छा मत कर’. ये कहावत सुनी तो आप सब लोगों ने है लेकिन दुनिया में बहुत कम लोग ऐसे होते है जो इस कहावत को अपनी असल जिंदगी में अपना पाते हैं. आज हम आपको ऐसे ही एक क्रिकेटर की कहानी सुनाने जा रहे हैं जिसने इस कहावत को न केवल अपनी जिंदगी बना लिया बल्कि पूरी दुनिया को इस बात का मतलब भी बेहतर तरीके से समझाया. लेकिन तकदीर का खेल इस क्रिकेटर के साथ हमेशा ऐसा हुआ कि उसकी इतनी मेहनत करने के बाद भी उसे आज तक उसका उचित फल नहीं मिल पाया.

वानखेड़े स्टेडियम मुंबई, शनिवार 2 अप्रैल, 2011
हम बात कर रहें हैं 2 अप्रैल साल 2011 आईसीसी विश्व कप की जिसमें श्रीलंकाई टीम ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने का फैसला किया था. वानखेड़े में खेले गए इस मैच में भारतीय टीम में सचिन तेंदुलकर, वीरेंद्र सहवाग, युवराज सिंह, गौतम गंभीर, विराट कोहली, जहीर खान, हरभजन सिंह, एमएस धोनी (कप्तान), सुरेश रैना, एस. श्रीसंथ, मुनाफ पटेल जैसे दिग्गज खिलाड़ी मौजूद थे. इस मैच में श्रीलंकाई टीम ने 6 विकेट के नुकसान पर 274 रन बनाए. 275 रनों के लक्ष्य का पीछा करने उतरी भारतीय टीम की शुरुआत बेहद खराब रही और वीरेंद्र सहवाग को जीरो रन पर लसिथ मलिंगा ने अपनी दूसरी ही गेंद पर lbw आउट कर पवेलियन वापस भेज दिया.

फिर मैदान पर आया गंभीर नाम का जादू
सहवाग के आउट होने के बाद गंभीर बल्लेबाजी करने के लिए मैदान पर आए. लेकिन उस वक्त क्रीज पर मौजूद सचिन कुछ खास नहीं कर पाए और मलिंगा ने 18 रन पर बल्लेबाजी कर रहे सचिन को सांगाकारा के हाथों कैच आउट करवाकर वापस भेज दिया. उस समय 31 रन पर दो विकेट गवां चुकी टीम इंडिया के लिए गौतम गंभीर संकट मोचन साबित हुए. उन्होंने 112 गेंदों पर 97 रन की अहम पारी खेली लेकिन वो अपने शतक से चूक गए. ये बात आज कम ही लोगों को याद होगी की उस समय अगर गौतम गंभीर पिच पर नहीं खड़े होते तो भारत के लिए 2011 का विश्व कप जीतने का सपना अधूरा रह जाता. गंभीर आज भी टीम इंडिया मे वापसी की उम्मीद तलाश रहे हैं. आज बस लोगों के जहन में जो बात याद है वो है महेंद्र सिंह धोनी का मैच विनिंग छक्का. जिससे उन्होंने टीम इंडिया को विश्व कप जिताया था. 10 गेंदें बाकी रहते ही भारत ने ये मैच छह विकेट से जीत लिया था.

कोलकाता नाइट राइडर्स को दो बार बनाया चैंपियन
भारत को 2011 विश्व कप जिताने में अहम भूमिका अदा करने के बाद अगले ही साल 2012 में आईपीएल के फाइनल मुकाबले मे चेन्नई सुपर किंग्स को मात देकर गौतम गंभीर ने कोलकाता नाइट राइडर्स को चैंपियन बनाया. फिर 2014 में किंग्स इलेवन पंजाब को मात देकर गंभीर ने कोलकाता नाइट राइडर्स को विजेता बनाया. दिल्ली ने गौतम गंभीर को आईपीएल नीलामी के पहले दिन मात्र 2.8 करोड़ रुपये में खरीदा. इससे पहले कोलकाता नाइट राइडर्स ने अपनी टीम के पूर्व कप्तान गौतम गंभीर को रिटेन करने से इनकार कर दिया था. इस नीलामी में गौतम गंभीर का बेस प्राइस 2 करोड़ रुपये था, लेकिन किसी भी फ्रेंचाइजी ने गंभीर में ज्यादा दिलचस्पी नहीं दिखाई और आखिरकार दिल्ली की टीम ने उन्हें बेहद सस्ते दाम में खरीद लिया. सात साल तक कोलकाता नाइट राइडर्स की कप्तानी करने के बाद अब गौतम गंभीर अपनी घरेलू टीम दिल्ली डेयर डेविल्स की कप्तानी करते हुए नजर आएंगे. बता दें कि इंडियन प्रीमियर लीग 2018 (आईपीएल) में ग्यारहवें संस्करण का उद्घाटन मैच सात अप्रैल को वानखेड़े स्टेडियम में मौजूदा चैंपियन मुंबई इंडियंस और दो बार के चैम्पियन चेन्नई सुपर किंग्स के बीच खेला जाएगा. जिसके बाद सभी टीमें इस खिताब को अपने नाम करने में जुट जाएंगी.

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