पीएनबी घोटाले के बाद अब धोखाधड़ी के मामले में CBI ने कनिष्क गोल्ड प्राइवेट लिमिटेड के डायरेक्टर्स से पूछताछ की है. साथ ही प्रमोटर्स और डायरेक्टर्स के खिलाफ लूट-आउट सर्कुलर जारी कर दिया. जबकि CBI ने यूनियन बैंक ऑफ इंडिया में करोड़ों के फ्रॉड में टोटेम इन्फ्रास्ट्ररक्चर और उसके प्रमोटर्स के खिलाफ भी केस दर्ज किया है.
नई दिल्लीः करीब 824 करोड़ रुपये के एसबीआई धोखाधड़ी मामले में सीबीआई ने कनिष्क गोल्ड प्राइवेट लिमिटेड के डायरेक्टर्स भूपेश जैन और नीता जैन से पूछताछ की. साथ ही जांच एजेंसी ने कनिष्क गोल्ड प्रमोटर्स और डायरेक्टर्स के खिलाफ लूट-आउट सर्कुलर जारी कर दिया है. वहीं सीबीआई ने यूनियन बैंक ऑफ इंडिया में 313 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी में हैदराबाद की कंपनी टोटेम इन्फ्रास्ट्ररक्चर और उसके प्रमोटर्स के खिलाफ भी केस दर्ज किया है.
बता दें कि कनिष्क गोल्ड को 14 बैंकों के कंसोर्टियम ने लोन दिया था, जिसमें एसबीआई सबसे आगे है. यह लोन अब एनपीए घोषित हो चुका है. इस मामले में एसबीआई की शिकायत पर सीबीआई ने एफआईआऱ दर्ज की गई है. गौरतलब है कि हाल ही में हुए पीएनबी घोटाले के बाद यह दूसरा बड़ा मामला है.
एसबीआई की ओर से कहा गया कि कनिष्क गोल्ड ने 2007 से कर्ज लेना शुरू किया और बाद में उसने अपनी क्रेडिट सीमा बढ़वा ली. बता दें कि कनिष्क का रजिस्टर्ड ऑफिस चेन्नई में है और इसके मालिक और प्रमोटर-डायरेक्टर भूपेश कुमार जैन और उनकी पत्नी नीता जैन हैं. एसबीआई का कहना है कि ज्वैलर ने सबसे पहले मार्च 2017 में ब्याज भुगतान में 8 सदस्य बैंकों से डिफॉल्ट किया. अप्रैल 2017 तक कनिष्क ने सभी 14 बैंकों को पेमेंट रोक दी. 5 अप्रैल 2017 को स्टॉक ऑडिट की शुरुआत के समय बैंकर्स प्रमोटर से संपर्क करने में असफल रहे.
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