भाजपा सांसद महेश गिरी ने औरंगजेब रोड का नाम बदलकर डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम रोड रखवा दिया गया. इसके लिए उन्हें वीरता का शिवाजी पुरस्कार मिला. पुरस्कार मिलते ही उन्होंने कहा कि औरंगजेब एक आतंकवादी था.
नई दिल्ली. दिल्ली की औरंगजेब रोड का नाम बदलकर डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम रोड रखने वाले भाजपा सांसद महेश गिरी को इसके लिए वीरता का शिवाजी पुरस्कार दिया गया. लेकिन ये पुरस्कार मिलते ही गिरी ने कहा कि आज की भाषा में औरंगजेब एक आतंकवादी है. इंदिरा गांधी नेशनल सेंटर फॉर द आर्ट्स में आयोजित कार्यक्रम में महेश गिरी को ये पुरस्कार दिया गया. पुरस्कार पाकर महेश गिरी ने कहा कि, ‘हर बार जब मैं औरंगजेब रोड को देखता था तो मुझे तकलीफ होती थी. जब औरंगजेब का शासन था तब उसने हमारी संस्कृति को बर्बाद करने का काम किया और तमाम बेगुनाहों को मौत के घाट भी उतारा. ऐसे शाषक के नाम पर देश की राजाधानी की सड़क का नाम कैसे पड़ सकता है? मैंने सोचा कि ये तो सरासर गलत है और इसीलिए मैंने इसे बदलने के लिए प्रयास शुरू कर दिये. जब इस सड़क का नाम मैंने बदलवा दिया तब मुझे बहुत धमकियां भी मिलीं.’
गौरतलब है कि महेश गिरी ने साल 2015 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को खत लिखकर मांग की थी कि औरंगजेब रोड का नाम बदलकर इसे डॉ. अब्दुल कलाम के नाम पर रखा जाए. पत्र में महेश गिरी ने लिखा था कि अब समय आ गया है कि इतिहास में की गई गलतियों को सुधारा जाए. इसके बाद एनडीएमसी ने 28 अगस्त 2015 को सड़क का नाम बदलकर डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम रोड रख दिया गया.
बता दें कि जिस कार्यक्रम में महेश गिरी को पुरस्कार दिया गया उसके उद्घाटन और पुरस्कार वितरण उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू को करना था लेकिन वे संसद में बजट सत्र चलने के कारण नहीं आ सके.
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