मोदी सरकार ने आखिरी पूर्ण बजट में राष्ट्रपति से लेकर आम आदमी का ध्यान रखा गया है. मोदी सरकार ने शिक्षा और स्वास्थ्य के पर अब लोगों को 3 नहीं चार फीसदी सेस देना होगा. जिसका असर लोगों की जेब पर पड़ेगा हालांकि इससे शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में विकास होगा
नई दिल्लीः वित्त अरुण जेटली ने गुरुवार को आम बजट पेश किया. बजट 2018-19 में मोदी सरकार ने सभी को राहत देने की कोशिश की है. मोदी सरकार ने शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में सेस बढ़ा दिया है. जहां पहले शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में 3 फीसदी सेस देना पड़ता था वहीं अब लोगों को 4 फीसदी सेस देना पड़ेगा. सरकार ने दोनों क्षेत्रों में सेस में एक फीसदी की बढ़ोत्तरी की है. जिससे आम लोगों के जेब पर असर पड़ेगा.
हालांकि शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में बढ़ाया गया सेस लोगों को फायदा भी पहुंचाएगा. बढ़ा हुआ सेस दोनों क्षेत्रों के विकास के लिए किया जाएगा. जिससे शिक्षा और स्वास्थ्य में लोगों को फायदा मिलेगा. वित्त मंत्री अरुण जेटली स्वास्थ्य और शिक्षा के क्षेत्र में विकास के लिए कई घोषणाएं की हैं. जहां मोदी सरकार ने देश के सभी बच्चों को स्कूल भेजना प्राथमिकता में शामिल किया है. वहीं कहा है कि अब प्री-नर्सरी से लेकर 12वीं तक एक ही शिक्षा नीति होगी.
वहीं वित्त मंत्री अरुण जेटली ने स्वास्थ्य बीमा को लेकर भी कई घोषणाएं की हैं. जिससे आम लोगों को काफी फायदा मिलेगा. मोदी सरकार द्वारा बढ़ाया गया सेस शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में खर्च किया जाएगा. जिससे आम लोगों को फायदा मिलेगा. हालांकि लोगों की जेब पर तो असर पड़ेगा ही लेकिन फायदा भी मिलेगा.
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