हरियाणा: हरियाणा विधानसभा चुनाव का नतीजा आज यानी 8 अक्टूबर की शाम तक साफ हो जाएगा. इससे पहले अब तक के रुझानों के मुताबिक भारतीय जनता पार्टी की सरकार बनती दिख रही है. वहीं रुझानों के मुताबिक बीजेपी ने बहुमत का आंकड़ा पार कर लिया है. लोकसभा चुनाव में बीजेपी हरियाणा में अच्छा प्रदर्शन नहीं […]
हरियाणा: हरियाणा विधानसभा चुनाव का नतीजा आज यानी 8 अक्टूबर की शाम तक साफ हो जाएगा. इससे पहले अब तक के रुझानों के मुताबिक भारतीय जनता पार्टी की सरकार बनती दिख रही है. वहीं रुझानों के मुताबिक बीजेपी ने बहुमत का आंकड़ा पार कर लिया है. लोकसभा चुनाव में बीजेपी हरियाणा में अच्छा प्रदर्शन नहीं कर पाई, जिसके चलते ये विधानसभा चुनाव उनके लिए कड़ी टक्कर बन गया.
बीजेपी हरियाणा शुरुआती रुझानों में अगर बढ़त बनाती दिख रही है तो इसके पीछे आरएसएस की कड़ी मेहनत है। हरियाणा विधानसभा चुनाव में आरएसएस ने अपनी पूरी ताकत झोंक दी थी. एक तरफ जहां प्रधानमंत्री नरेंद्र, गृह मंत्री अमित शाह समेत बीजेपी के तमाम दिग्गज रैलियां कर लोगों को संबोधित कर रहे थे तो वहीं दूसरी तरफ आरएसएस जमीनी स्तर पर काम कर रहा था.
पिछले चार महीनों में आरएसएस ने हरियाणा में 16 हजार छोटी-छोटी बैठकें कीं, जिन्होंने गैर-जाट वोटरों को अपने पक्ष में करने में बेहद अहम भूमिका निभाई. इस बार हरियाणा विधानसभा चुनाव के लिए आरएसएस ने अपने पारंपरिक तरीके से काम शुरू किया था. इस बार संघ कार्यकर्ता घर-घर जाने के साथ-साथ सार्वजनिक स्थानों पर भी लोगों को केंद्र और राज्य सरकार की नीतियों के बारे में बता रहे हैं. आरएसएस ने उन सभी सीटों का दौरा किया जहां बीजेपी कमजोर दिख रही थी. विधानसभा चुनाव से पहले बीजेपी और आरएसएस के बीच कई बैठकें हुईं, जिसमें उम्मीदवार चयन से लेकर बूथ लेवल मैनेजमेंट तक पर चर्चा हुई.
आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने शनिवार (5 अक्टूबर 2024) को हिंदू समाज से एकजुट होकर आपसी मतभेद और विवाद खत्म करने का आह्वान किया था। उन्होंने कहा था कि हिंदू समाज को अपनी सुरक्षा के लिए भाषा, जाति और क्षेत्र के भेदभाव और विवादों को मिटाकर एकजुट होना होगा.
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