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राधाष्टमी पर करें श्री राधारानी का दिव्य श्रृंगार, सजाएं ऐसे कि नजरें ठहर जाएं

नई दिल्ली: राधाष्टमी हिन्दू धर्म का एक प्रमुख त्योहार है, जिसे श्री राधारानी के जन्मोत्सव के रूप में मनाया जाता है। राधाष्टमी का यह पर्व भाद्रपद शुक्ल अष्टमी को आता है और इसे राधारानी की पूजा-अर्चना और विशेष श्रृंगार से समर्पित किया जाता है। इस अवसर पर भक्तगण राधारानी की मूर्ति या प्रतिमा का खास […]

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  • September 9, 2024 2:00 pm Asia/KolkataIST, Updated 3 months ago

नई दिल्ली: राधाष्टमी हिन्दू धर्म का एक प्रमुख त्योहार है, जिसे श्री राधारानी के जन्मोत्सव के रूप में मनाया जाता है। राधाष्टमी का यह पर्व भाद्रपद शुक्ल अष्टमी को आता है और इसे राधारानी की पूजा-अर्चना और विशेष श्रृंगार से समर्पित किया जाता है। इस अवसर पर भक्तगण राधारानी की मूर्ति या प्रतिमा का खास तरीके से श्रृंगार करते हैं ताकि वे अपनी आराध्या देवी को प्रसन्न कर सकें। आइए जानते हैं कि राधाष्टमी पर किस प्रकार से श्री राधारानी का श्रृंगार करें, जिससे कि उनकी दिव्यता और सौंदर्य को देखकर आप अपनी नजरें नहीं हटा पाएं।

राधाष्टमी का महत्व

राधाष्टमी का त्योहार वृंदावन, बरसाना और भारत के कई अन्य हिस्सों में अत्यंत भव्यता से मनाया जाता है। इस दिन विशेष पूजा, कीर्तन, भजन और रासलीला का आयोजन होता है। श्री राधारानी को श्रीकृष्ण की अनन्य प्रेमिका और भक्ति की प्रतीक माना जाता है, और उनके श्रृंगार का विशेष महत्व है। कहा जाता है कि इस दिन अगर भक्त सच्चे मन से राधारानी की पूजा और श्रृंगार करते हैं, तो उन्हें उनकी कृपा अवश्य प्राप्त होती है।

श्रृंगार की विधि

1. मूर्ति को स्नान कराएं: सबसे पहले श्री राधारानी की मूर्ति या प्रतिमा को दूध, दही, शहद, घी और गंगाजल से स्नान कराएं। इसे पंचामृत स्नान कहा जाता है और इससे मूर्ति की शुद्धि होती है।

2. वस्त्र और आभूषण पहनाएं: स्नान के बाद राधारानी को सुन्दर वस्त्र पहनाएं और फिर आभूषणों से सजा दें। इस दौरान मंत्रों का उच्चारण करते रहें।

3. फूलों से श्रृंगार: फूलों की माला पहनाकर और बालों में गजरा लगाकर राधारानी का सौंदर्य और भी बढ़ाएं। गजरे के फूलों की खुशबू से वातावरण भी सुगंधित हो जाएगा।

4. तिलक और काजल: माथे पर कुमकुम से तिलक लगाएं और आँखों में काजल। इससे उनका चेहरा और भी दैवीय प्रतीत होगा।

5. दीप और धूप जलाएं: अंत में दीपक और धूप जलाकर आरती करें और उनके आगे प्रसाद अर्पित करें।

विशेष पूजा विधि

राधाष्टमी के दिन, भक्तों को सच्चे मन और भक्ति भाव से राधारानी की पूजा करनी चाहिए। इस दिन उनका विशेष मंत्र “ॐ राधायै विद्महे कृष्णप्रियायै धीमहि तन्नो राधा प्रचोदयात्” का जाप करें। यह मंत्र उनकी कृपा प्राप्त करने के लिए अत्यंत प्रभावी माना जाता है।

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