प्राइवेट सेक्टर के यस बैंक (Yes Bank) की हिस्सेदारी को लेकर बड़ा खेल शुरू हो चुका है। खबरें आ रही हैं कि जापान का सबसे बड़ा बैंक
नई दिल्ली: प्राइवेट सेक्टर के यस बैंक (Yes Bank) की हिस्सेदारी को लेकर बड़ा खेल शुरू हो चुका है। खबरें आ रही हैं कि जापान का सबसे बड़ा बैंक, *सुमितोमो मित्सुई बैंकिंग कॉर्पोरेशन (SMBC), यस बैंक पर 5 अरब डॉलर का दांव लगाने की तैयारी कर रहा है। यह दांव बैंक के लिए गेम चेंजर साबित हो सकता है। एसएमबीसी के चीफ अकीहीरो फुकुतोमे (Akihiro Fukutome) अगले हफ्ते भारत आ रहे हैं और इस दौरान रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) और स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI) के अधिकारियों से भी मुलाकात करेंगे।
अकीहीरो फुकुतोमे ने हाल ही में सुमितोमो मित्सुई बैंकिंग कॉर्पोरेशन के ग्लोबल सीईओ का पद संभाला है, और यह उनका भारत का पहला दौरा होगा। खबरों के मुताबिक, वह यस बैंक में 51 फीसदी हिस्सेदारी खरीदने के लिए 5 अरब डॉलर की वैल्यूएशन के साथ आ रहे हैं। एसएमबीसी ने यस बैंक के बारे में डिटेल भी मांगी है और अब यह देखना दिलचस्प होगा कि बातचीत किस दिशा में जाती है।
देश के सबसे बड़े बैंक, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI), के पास यस बैंक में 23.99 फीसदी हिस्सेदारी है। एसबीआई ने 2020 में डूबते हुए यस बैंक को बचाने के लिए 49 फीसदी हिस्सेदारी खरीदी थी, लेकिन अब वह अपनी बाकी की हिस्सेदारी भी बेचना चाहता है। जुलाई में आरबीआई ने यस बैंक में 51 फीसदी हिस्सेदारी बेचने को मंजूरी दे दी थी, जो कि एक अनूठा निर्णय था क्योंकि आरबीआई ने घरेलू बैंकों में प्रमोटर की हिस्सेदारी पर 26 फीसदी की लिमिट लगाई हुई है।
यस बैंक की हिस्सेदारी खरीदने की दौड़ में केवल एसएमबीसी ही नहीं, बल्कि जापान का मिजूहो बैंक (Mizuho Bank) और यूएई का एनबीडी (NBD) भी शामिल हैं। मिजूहो बैंक 20 से 24 फीसदी हिस्सेदारी खरीदने की योजना बना रहा है। एसबीआई के अलावा एचडीएफसी बैंक, आईसीआईसीआई बैंक, कोटक महिंद्रा बैंक और एलआईसी भी यस बैंक में बड़े हिस्सेदार हैं।
एसएमबीसी ने जेपी मॉर्गन को इस अधिग्रहण के लिए फाइनेंशियल एडवाइजर और जे सागर को लीगल एडवाइजर नियुक्त किया है। यह देखना होगा कि आने वाले दिनों में यस बैंक का भविष्य किस दिशा में जाता है। क्या यस बैंक में यह बड़ा निवेश होगा? क्या एसएमबीसी इसे अपनी झोली में डाल पाएगा या फिर कोई और इसे खरीदने में सफल होगा? अब सबकी नजरें इस बड़े खेल पर टिकी हुई हैं।’
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